छत्तीसगढ़बिलासपुर

मिशन अस्पताल मामला बेजाकब्जा करने का प्रयास दो के विरुद्ध हुई एफआईआर दर्ज

सुरेश सिंह वैस/बिलासपुर। बहुचर्चित मिशन अस्पताल मामले ने अब नया मोड़
सामने आया है। मिशन प्रबंधन की पैरवी करने वालों ने कमिश्नर कोर्ट के आदेश का खुला उल्लंघन करते हुए अस्पताल पर कब्जा करने का प्रयास किया है। मामले में जिला प्रशासन की तरफ से राजस्व निरीक्षक मयंकमणि दुबे की रिपोर्ट पर मिशन अस्पताल के कर्ताधर्ताओं में नितीन लारेन्स और जयदीप राबिन्सन और अन्य के खिलाफ सिविल लाइन थाना ने गंभीर धाराओं के तहत अपराध दर्ज किया है।मिशन अस्पताल प्रबंधन ने कमिश्नर कोर्ट के स्थगन आदेश का उल्लंघन करते हुए मिशन अस्पताल पर कब्जा करने का प्रयास किया है। सूचना के बाद जांच पड़ताल कर नितीन लारेन्स और जयदीप राबिन्सन समेत अन्य लोगों के खिलाफ गंभीर धाराओं के तहत अपराध दर्ज किया है। मामले में जिला प्रशासन की तरफ से नजूल आरआई मयंक मणि दुबे ने रिपोर्ट दर्ज कराया है।

मिशन असप्ताल पर कब्जा का प्रयास

जानकारी देते चलें कि 22 अगस्त को मिशन अस्पताल प्रबंधन ने जिला प्रशासन को कब्जा देते हुए कहा कि अस्पताल में इस समय मरीज, मशीन और स्टाफ का निवास है। यदि किसी प्रकार की जन या धन की हानि होती है तो इसके लिए प्रशासन जिम्मेदार होगा। आवेदन लिए जाने के बाद जिला प्रशासन के आदेश पर तत्काल 22 अगस्त की शाम टीम ने मौका मुआयना किया। मौके पर ना तो स्टाफ पाया गया और ना ही कोई मरीज या परिजन ही नजर आए। टीम की रिपोर्ट पर जिला प्रशासन ने तत्काल नोटिस चस्पा और तामील कर 26 अगस्त साढ़े पांच बजे तक कब्जा हटाने का आदेश दिया था।

नजूल टीम की कार्रवाई

नजूल टीम की कार्रवाई से दंग मिशन अस्पताल ने पहले हाईकोर्ट फिर कमिश्नर कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। कमिश्नर कोर्ट ने अपील को स्वीकार करते हुए स्थगन आदेश दिया। साथ ही मामले की सुनवाई के लिए 27 अगस्त का समय दिया। 27 अगस्त सुनवाई के बाद कमिश्नर कोर्ट ने नई तारीख दिया।29 अगस्त को नजूल प्रशासन को जानकारी मिली कि प्रबंधन के कर्ता धर्ता नितीन लारेन्स और जयदीप राबिन्सन अपने साथियों के साथ स्थगन आदेश की धज्जियां उड़ा रहे हैं। मिशन अस्पताल मरें प्रवेश कर तोड़फोड़ और अनाधिकृत तरीके से कब्जा कर रहे हैं। आरआई मयंक मणि ने मौके पर पहुंचकर वस्तुस्थिति को ना केवल देखा बल्कि वीडियो भी बनाया।

सिविल लाइन में एफआईआर

मामले में सिविल लाइन थाना पहुंचकर मयंक मणि दुबे ने लिखित शिकायत किया। दुबे ने बताया कि कैम्पस में नितिन लारेन्स,जयदीप राबिन्सन और अन्य सीसीटीव्ही कैमरो के तार को खींचकर तोड रहे है। अनाधिकृत रूप से कैम्पस पर कब्जा के उद्देश्य से बोर्ड लगा रहे हैं। मयंक मणि ने अपनी शिकायत में बताया कि संभागायुक्त ने नजूल शीट नम्बर 14 प्लाट नम्बर 21/1 की 12 एकड़ जमीन पर स्थगन आदेश दिया है। स्थगन आदेश के तहत भूमि पर किसी प्रकार की गतिविधियों के संचालन या निर्माण पर प्रतिबंध है।

निगम ने लगाया सीसीटीवी

गतिविधियों पर नजर रखने के लिए राजस्व विभाग ने नगर पालिक निगम के माध्यम से अस्पताल में सीसीटीव्ही लगाया है। 28 अगस्त की देर रात्रि करीब एक बजे के आसपास सीसीटीवी तार को तोड़ा गया है। आरोपियों ने बिजली बन्द कर भूमि पर चार नया बोर्ड और फैलेक्स लगाया है। बोर्ड में नितिन लारेन्स जयदीप
राबिन्सन नाम लिखा है।

गंभीर धाराओं पर दर्ज हुआ अपराध

नजूल अधिकारी की शिकायत पर पुलिस ने नितिन लारेंस,जयदीप राबिन्सन और अन्य के खिलाफ कब्जा के उद्देश्य से बोर्ड लगाने और सीसीटीव्ही कैमरा का तार तोडने का जुर्म दर्ज किया। आरोपियों के खिलाफ पुलिस ने बीएनएस की धारा 324, 329 और 3(5) का अपराध दर्ज किया है। पुलिस के अनुसार आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।

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