छत्तीसगढ़

रायपुर में IVF ट्रीटमेंट के दौरान गई महिला की जान:मौत के बाद हंगामा; परिजन का आरोप-जिंदा बताकर लाश घुमाता रहा स्टाफ

रायपुर के इंदिरा IVF सेंटर में संदिग्ध हालात में महिला की मौत हो गई। परिजन ने डॉक्टरों पर इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है। परिजन का आरोप है कि मौत हो जाने के बाद भी अस्पताल का स्टाफ जिंदा बताकर लाश को घुमाता रहा। इसे लेकर मृत महिला के घरवालों ने शुक्रवार देर रात अस्पताल में जमकर हंगामा किया। मामला पंडरी थाना क्षेत्र का है।

राजनांदगांव के लखोली के रहने वाले मनोज साहू (30) ने अपनी पत्नी नीलम साहू (26) को इंदिरा IVF सेंटर में भर्ती कराया था। नीलम स्वाभाविक तरीके से मां नहीं बन पा रही थी, इसलिए वे IVF ट्रीटमेंट करवा रहे थे। पिछले कुछ महीनों से अस्पताल की डॉक्टर रश्मि दिलीप कुमार इन्हें सलाह दे रही थीं। शुक्रवार को सर्जरी के लिए डॉ रश्मि ने उन्हें बुलाया था।

परिजन का आरोप है कि अस्पताल स्टाफ ने उन्हें सही जानकारी नहीं दी।
परिजन का आरोप है कि अस्पताल स्टाफ ने उन्हें सही जानकारी नहीं दी।

अस्पताल स्टाफ पर गुमराह करने का आरोप

नीलम के परिजन का कहना है कि जब शुक्रवार को उसे ऑपरेशन के लिए ले जाया गया तो वह बिल्कुल ठीक थी। उसने पति और घर वालों से बात की, एक सेल्फी भी क्लिक की। सब कुछ सामान्य था। कुछ देर के बाद डॉक्टर्स आए और कहने लगे कि कुछ इमरजेंसी है, हालांकि घबराने की बात नहीं है।

उन्होंने कहा कि हम मरीज को पास के ममता हॉस्पिटल लेकर जा रहे हैं। घरवाले कुछ समझ नहीं पाए और जैसा IVF सेंटर वालों ने कहा, वे करने लगे। ममता हॉस्पिटल पहुंचकर पता चला कि नीलम की मौत तो पहले ही हो चुकी है।

लाश को इधर से उधर कर उलझाता रहा स्टाफ

महिला के देवर रुपेंद्र साहू ने दैनिक भास्कर को बताया कि अचानक जब अस्पताल वाले भाभी को दूसरे हॉस्पिटल में शिफ्ट करने की बात करने लगे, तब तक उनकी मौत हो चुकी थी। वे लाश को इधर से उधर करके हमें उलझाते रहे। जब भाभी को बाहर लाया गया, तो मैंने देखा कि हार्ट बीट दिखाने वाली स्क्रीन जीरो हो चुकी थी।

कोई हार्ट बीट नहीं दिखाई दे रही थी। फिर भी वे लाश को घुमाते रहे। वे स्ट्रेचर को भी अजीब तरीके से सीढ़ियों से उतारकर लाए।

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