‘टॉयलेट मैन’ के नाम से मशहूर बिंदेश्वर पाठक मरणोपरंता मिला ‘पद्म विभूषण’ सम्मान
बिहार के रहने वाले विंदेश्वर पाठक को सामाजिक क्षेत्र में उत्कृष्ठ योगदान देने के लिए भारत सरकार की तरफ से पद्म विभूषण सम्मान देने का फैसला किया गया गया है. सार्वजनिक शौचालयों के निर्माण में अग्रणी, सुलभ इंटरनेशनल के संस्थापक और सामाजिक कार्यकर्ता 80 साल के बिंदेश्वरी पाठक को मरणोपरंत यह सम्मान दिया गया है.
बिंदेश्वर पाठक ने एक इंटरव्यू में बताया था कि उनके घर में रहने के लिए तो 9 कमरे थे, लेकिन शौचालय नहीं था. उन्होंने ऐसे समय को देखा जब सुबह सवेरे सूर्योदय से पहले ही महिलाएं शौच के लिए घर से बाहर जाया करती थीं. ऐसे में उन्होंने तय किया कि कुछ ऐसी व्यवस्था की जाए, जिससे महिलाएं और आमलोगों को शौचालय की व्यवस्था हो. फिर उन्होंने सुलभ शौचालय की संस्थापना की.
देशभर में सुलभ इंटरनेशनल के करीब 8500 शौचालयों और स्नानघर हैं. सुलभ इंटरनेशनल के शौचालय के प्रयोग के लिए 5 रुपये और स्नान के लिए 10 रुपये लिए जाते हैं. जबकि कई जगहों पर इन्हें सामुदायिक प्रयोग के लिए मुफ़्त भी रखा गया है.